जाति-बिरादरी के व्यक्ति का रखते हैं ख्याल, अपराधी है तो भी गुनाह माफ’ एडीसीपी पर जातिवाद के आरोप का लगा पोस्टर
कानपुर जिले में पोस्टरवार का मामला सामने आया है. पोस्टर लगाकर कानपुर पुलिस के एडीसीपी पर जातिवाद के आरोप लगाए गए हैं. हालांकि उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों को निराधार बताया है.
जिले में एक बार फिर पोस्टरवार का मामला सामने आया है. जहां इस बार कानपुर पुलिस के एडीसीपी पर आरोप लगाए गए हैं. दरअसल कानपुर के पनकी के भौती बाईपास पर एक धर्मकांटे के बोर्ड में मुख्यमंत्री के नाम लिखकर एक पोस्टर चिपका देखा गया है. जिसमें पुलिस कमिश्नरेट के एडीसीपी लखन सिंह यादव पर जातिवाद के आरोप लगे हैं. इस पोस्ट की वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है.हालांकि उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों को निराधार बताया है.
क्या है पूरा मामला
दरअसल पोस्टर में लिखा हुआ है कि कानपुर नगर में तैनात एडीसीपी लखन सिंह यादव इतने बड़े पद में होते हुये भी जाति बिरादरी का विशेष खयाल रखते हैं कि यदि यादव जाति का व्यक्ति अपराधी भी है तो उसका गुनाह माफ है, पोस्टर में लिखा है कि इनके कार्यालय में जो भी पत्रकार से लेकर सिपाही तक जो भी इनसे मिलने जाये वो यादव होगा तो प्यार से बात करेंगे नहीं तो इनसे मिलने कोई गैर बिरादरी का सिपाही पहुंचता है तो ये उससे अभद्र भाषा से बात करते हैं, ऐसे ही कई आरोप एडीसीपी पर लगे हुए हैं.
मामले पर ज्वाइंट पुलिस कमिश्नर लॉ एंड ऑर्डर ने कही ये बात
इस संबंध में ज्वाइंट पुलिस कमिश्नर लॉ एंड ऑर्डर आनंद प्रकाश तिवारी का कहना है कि यह मामला अभी प्रकाश में नहीं है लेकिन फिर भी अगर किसी ने आरोप लगाए हैं तो इसकी जांच करी जाएगी. कभी-कभी ऐसा होता है कि जिम्मेदार अधिकारी कुछ बदलाव करते हैं, वह कुछ लोगों की दृष्टि से गलत रहते हैं. यह पोस्टर किसने और क्यों लगाया है, यह पूरा जांच का विषय है इस पर जांच की जाएगी
*सुमित सिंह की रिपोर्ट*