जुआ माफिया को बचाने के लिए चौकी प्रभारी ने कमिश्नर के नाम पर किया गुमराह…निलंबित,
स्वरूप नगर थानाक्षेत्र में लांउज में कर्नलगंज पुलिस को मिली थी सटीक सूचना
प्रेस क्लब के पूर्व अध्यक्ष अवनीश दीक्षित और जुआ माफिया मासूम अली के कुछ साथियों को सटीक सूचना पर स्वरूप नगर में पुलिस पकड़ने गई थी। इस दौरान लाउंज में पहुंचने से पहले ही नजीराबाद थाने की जेके मंदिर चौकी प्रभारी ने दबिश में शामिल एक दरोगा को फोन करके भ्रमित करते उनके थाने में पुलिस कमिश्नर पहुंचने की बात कही थी। जिससे पुलिस रुक गई और अपराधी लाउंज से भाग निकले थे। इस तरह भ्रमित करने पर मामले की जांच एडीसीपी सेंट्रल कर रहे थे। जिनकी जांच रिपोर्ट डीसीपी सेंट्रल को सौंपने के बाद चौकी प्रभारी को निलंबित कर विभागीय जांच बैठा दी गई है।
कर्नलगंज पुलिस ने पिछले दिनों कुली बाजार निवासी मासूम अली को गिरफ्तार किया था। आरोपी के साथी नावेद, तलहा सफीक उर्फ जैन, राजा बरक और शारिक भाग निकले थे। मासूम अली के पास मिली डायरी में शहर के पत्रकार शनि जायसवाल, लकी ठाकुर, राजा अहिरवार, विकास अवस्थी के नाम लिखे थे। यह सभी नाम अवनीश दीक्षित के करीबी हैं।
शनिवार को कर्नलगंज पुलिस को सफीक उर्फ जैन के संबंध में जानकारी मिली थी। इंस्पेक्टर कर्नलगंज टीम के साथ उसे पकड़ने के लिए रवाना हुए। रास्ते में जेके मंदिर चौकी प्रभारी राजन मौर्या ने दबिश टीम में शामिल एक दरोगा को फोन कर बताया कि उनके यहां पुलिस कमिश्नर पहुंच रहे हैं।
इस सूचना की वजह से जांच टीम को छापा मारने में दस मिनट का विलंब हुआ और फायदा उठाकर शातिर आरोपी भाग निकले। इस मामले में एडीसीपी सेंट्रल महेश कुमार के निर्देशन में जांच की गई। अधिकारियों ने अपनी जांच में उसे दोषी पाया और निलंबित कर दिया।
सुमित सिंह की रिपोर्ट