*राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस पर फ़ेयर नेचर फ़ाउंडेशन ने भव्य रक्तदान एवं जागरूकता का आयोजन किया*
उन्नाव। राष्ट्रीय स्वैच्छिक रक्तदान दिवस के अवसर पर ज़िला अस्पताल के ब्लड बैंक में बुधवार को फ़ेयर नेचर फ़ाउंडेशन द्वारा एक भव्य रक्तदान एवं जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस आयोजन ने न केवल रक्तदान को महादान साबित किया बल्कि समाज में नई चेतना और उत्साह की भी लहर पैदा कर दी। फ़ाउंडेशन के अध्यक्ष मणि शंकर शर्मा के नेतृत्व में आयोजित इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया और रक्तदान करके मानवता की सेवा का संदेश दिया।संस्था के कोषाध्यक्ष दीपांशु, सक्रिय सदस्य जयदीप शर्मा और अस्तित्व सिंह ने रक्तदान कर समाज के सामने अनुकरणीय उदाहरण प्रस्तुत किया। वहीं संस्था के उपाध्यक्ष प्रशांत, संगठन मंत्री मुकेश, सक्रिय सदस्य अतुल, दीपांशु, अपित और कन्हैया सहित कई अन्य कार्यकर्ताओं की उपस्थिति ने इस कार्यक्रम को और भी ऊर्जावान बना दिया। रक्तदाताओं का उत्साह देखते ही बन रहा था, मानो हर कोई इस पुण्य कार्य का हिस्सा बनकर स्वयं को गौरवान्वित महसूस कर रहा हो। कार्यक्रम के दौरान वक्ताओं ने लोगों को रक्तदान के महत्व से अवगत कराते हुए कहा कि रक्तदान केवल सेवा का कार्य नहीं बल्कि यह किसी ज़िंदगी को नया जीवन देने का पवित्र अवसर है। एक यूनिट रक्त से तीन जीवन तक बचाए जा सकते हैं और यही वजह है कि हर व्यक्ति को समय-समय पर स्वेच्छा से रक्तदान करना चाहिए। चिकित्सकों ने भी विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि रक्तदान करने से न केवल दूसरों की ज़िंदगी बचती है बल्कि दाता का स्वास्थ्य भी अच्छा रहता है और उसके शरीर में नई ऊर्जा का संचार होता है। इस आयोजन में युवाओं की भागीदारी विशेष रूप से उल्लेखनीय रही। कई युवाओं ने पहली बार रक्तदान किया और संकल्प लिया कि वे आगे भी समाज की इस ज़रूरत को पूरा करने में हमेशा सक्रिय रहेंगे। माहौल में उमंग और सेवा का ऐसा संगम देखने को मिला, जिसने यह साबित कर दिया कि इंसानियत से बढ़कर कोई धर्म नहीं है और रक्तदान से बड़ा कोई महादान नहीं है।फ़ेयर नेचर फ़ाउंडेशन ने इस अवसर पर संदेश दिया कि अगर हमारी एक बूंद रक्त किसी की ज़िंदगी बचा सकती है तो यह सबसे बड़ा पुण्य कार्य है। रक्तदान से बढ़कर कोई सेवा और दान नहीं हो सकता, इसलिए हर व्यक्ति को वर्ष में कम से कम दो बार रक्तदान अवश्य करना चाहिए। संस्था ने यह भी स्पष्ट किया कि आने वाले समय में ऐसे जागरूकता और सेवा के कार्यक्रम लगातार आयोजित किए जाते रहेंगे ताकि समाज में हर स्तर पर रक्तदान की संस्कृति विकसित हो और कोई भी मरीज रक्त की कमी से दम न तोड़े।कार्यक्रम का समापन उत्साहपूर्ण माहौल में हुआ जहाँ रक्तदाताओं को सम्मानित भी किया गया। यह आयोजन न केवल रक्तदान को महादान का दर्जा दिलाने में सफल रहा बल्कि इसने उन्नाव की धरती पर सेवा, समर्पण और जागरूकता का ऐसा माहौल भी रचा जो लंबे समय तक याद रखा जाएगा।
*अस्तित्व कुशवाहा संवाददाता*




