लखनऊ(आरएनएस ) समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने आज नई दिल्ली के जंतर-मंतर पर डीएमके छात्र इकाई द्वारा केंद्र सरकार की नई शिक्षा नीति के खिलाफ आयोजित धरने को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी इस नीति का पुरजोर विरोध करती है, क्योंकि यह उद्योगपतियों के लाभ के लिए बनाई गई है और शिक्षा व्यवस्था को उनके हाथों में सौंपने का एक षड्यंत्र है।
अखिलेश यादव ने स्पष्ट किया कि समाजवादी पार्टी पूरी तरह से डीएमके छात्र इकाई के आंदोलन के साथ खड़ी है। उन्होंने कहा कि पार्टी के सभी सांसद और विधायक इस नीति के विरोध में हैं, क्योंकि यह शिक्षा क्षेत्र में असमानता को बढ़ावा देती है और इसे व्यापारिक हितों के अनुरूप ढालने की कोशिश की गई है। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार में कुलपतियों की नियुक्ति में अनियमितताएं हो रही हैं और नई शिक्षा नीति का असल उद्देश्य राजनेताओं को उद्योगपतियों का अनुचर बनाना है।धरने को संबोधित करते हुए उन्होंने तमिलनाडु से आए डीएमके के नेताओं, छात्रों और कार्यकर्ताओं को बधाई दी और कहा कि इस विरोध से उठी आवाज सिर्फ तमिलनाडु तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि पूरे देश में गूंजेगी। उन्होंने यह भी कहा कि उत्तर भारत के छात्र भी इस आंदोलन का समर्थन करेंगे और समाजवादी पार्टी भाजपा की इस नई शिक्षा नीति को वापस लेने की मांग करती है।इस विरोध प्रदर्शन में डीएमके छात्र इकाई के पदाधिकारियों के साथ डीएमके के वरिष्ठ नेता नव्व टीआर बालू, कनिमोझी, ए. राजा, टी. शिवा और प्रेम चंद्रन समेत कई अन्य नेता मौजूद रहे।
नई शिक्षा नीति के खिलाफ धरने में शामिल हुए अखिलेश यादव, बताया उद्योगपतियों के हित में बनाया गया कानून
नई शिक्षा नीति के खिलाफ धरने में शामिल हुए अखिलेश यादव, बताया उद्योगपतियों के हित में बनाया गया कानून
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